प्रधानमंत्री ने दिवाली सेना के अफसरों और जवानों के साथ मनाई

प्रधानमंत्री ने पंजाब में 1965 के युद्ध स्मारकों का दौरा किया,
दिवाली सेना के अफसरों और जवानों के साथ मनाई 

प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने 1965 के युद्ध में भारतीय सेना की कुछ शानदार सफलताओं को याद करने के लिए आज पंजाब के तीन युद्ध स्मारकों का दौरा किया।

प्रधानमंत्री ने डोगराई और बरकी युद्ध स्मारकों का दौरा किया। 1965 में डोगराई और बरकी में भारतीय सेना ने निर्णायक जीत हासिल की थी।

प्रधानमंत्री ने असाल उत्तर का भी दौरा किया, जहां उस समय की सबसे बड़ी टैंक लड़ाइयों में से एक हुई थी। असाल उत्तर की लड़ाई को वीर अब्दुल हमीद के युद्ध कारनामों के लिए भी याद किया जाता है। उन्हें युद्ध में असाधारण शौर्य प्रदर्शन के लिए मरणोपरांत परमवीर चक्र प्रदान किया गया था। प्रधानमंत्री ने अब्दुल हमीद के युद्ध स्मारक पर पुष्प अर्पित कर उन्हें श्रद्धांजलि दी।

प्रधानमंत्री ने डोगराई, बरकी युद्ध स्मारकों और हलवारा एयरफोर्स स्टेशन पर भारतीय सेना और वायुसेना के अफसरों और जवानों को बधाई दी तथा उनसे बातचीत की।

प्रधानमंत्री ने कहा कि हर कोई अपने परिवार के साथ दिवाली मनाना चाहता है। इसलिए जिस तरह पिछले साल उन्होंने सियाचिन का दौरा किया उसी तरह इस बार उन्होंने दिवाली भारतीय वायुसेना के अफसरों और जवानों के साथ मनाने का फैसला किया। उन्होंने कहा कि चूंकि इस साल 1965 के युद्ध की 50वीं वर्षगांठ है इसलिए उन्होंने उन स्थानों का दौरा करने का फैसला किया, जहां भारतीय वायुसेना के बहादुर सैनिकों ने अपना खून बहाया था और युद्ध के दौरान सर्वोच्च बलिदान दिया था।

प्रधानमंत्री ने कहा कि लंबे समय से अटका पड़ा वन-रैंक, वन पेंशन मुद्दा सुलझ गया है। सरकार ने वन-रैंक, वन पेंशन लागू करने की अनुमति दे दी है। 

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